मानसून के दौरान केरल सिर्फ़ एक जगह नहीं है – यह एक एहसास है। जैसे ही पहली बूँदें लाल धरती पर गिरती हैं, सब कुछ बदल जाता है। पेड़ हरे-भरे दिखते हैं, नदियाँ तेज़ आवाज़ में बहने लगती हैं और हवा में गीली मिट्टी और पुरानी कहानियों की खुशबू आती है। अगर आपको बारिश का जादू पसंद है, तो जून से सितंबर के बीच केरल आपके लिए एक सपना सच होने जैसा है।
आइए मानसून के दौरान केरल में घूमने के लिए सबसे खूबसूरत जगहों के बारे में जानें, जिनमें से हर एक में शांति की एक अलग छटा है।

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मुन्नार – धुंध, पहाड़ और पल
मुन्नार वह जगह है जहाँ बादल आराम करने के लिए आते हैं। मानसून के दौरान, यह हिल स्टेशन किसी रोमांटिक फिल्म के दृश्य जैसा लगता है। चाय के बागान ताज़ी ओस से चमकते हैं और झरने – ओह, झरने – जंगली ऊर्जा के साथ जीवंत हो उठते हैं।
अगर आपको बारिश के दौरान गर्म चाय पीना पसंद है, तो मुन्नार आपके लिए घर जैसा महसूस होगा।
जरूर करें:
- अट्टुकल और लक्कम झरने
- स्टेशन के शीर्ष दृश्य
- चाय बागान के कॉटेज में ठहरें
वायनाड – जहाँ प्रकृति धीरे-धीरे फुसफुसाती है
मानसून के दौरान वायनाड में कुछ अविश्वसनीय रूप से ज़मीनीपन होता है। जंगल पन्ना भूलभुलैया में बदल जाते हैं और एडक्कल जैसी प्राचीन गुफाएँ टपकते पानी और पुरानी कहानियों से गूंजती हैं। यह शांत, गहरा और आध्यात्मिक है।
यदि आप एकांत, उपचार या अराजकता से कुछ समय दूर रहना चाहते हैं, तो मानसून के दौरान वायनाड आपके लिए सही जगह है।
जरूर करें:
- मीनमुट्टी और सोचीपारा झरनों की बरसाती सैर
- बानसुरा सागर बांध
- आदिवासी गाँव और स्थानीय भोजन
एलेप्पी – रोमांस से सराबोर बैकवाटर
एलेप्पी बैकवाटर हमेशा खास होते हैं, लेकिन मानसून इस जगह को एक काव्यात्मक शांति प्रदान करता है। भूरे आसमान के नीचे हाउसबोट धीरे-धीरे तैरते हैं और पानी पर लहरें गुजरते बादलों के नाटक को दर्शाती हैं। आपको यहाँ ज़्यादा कुछ नहीं चाहिए – बस एक अच्छी किताब, एक गर्म भोजन और छत पर बारिश की आवाज़।
जरूर करें:
- स्थानीय भोजन के साथ रात भर हाउसबोट में ठहरें
- पानी के किनारे गाँव का जीवन* नहरों के माध्यम से बरसाती नाव की सवारी
थेक्कडी – जहाँ जंगल और बारिश का मिलन होता है
जब थेक्कडी में बारिश होती है, तो पेरियार वन्यजीव अभयारण्य एक जीवंत कहानी बन जाता है। झील के ऊपर धुंध तैरती है, जानवर पानी पीने के लिए जंगल से बाहर आते हैं और सब कुछ अछूता-सा लगता है – कच्चा और शांत।
यदि आप वन्यजीवों के शौकीन हैं या प्रकृति की धड़कनों के करीब रहना पसंद करते हैं, तो मानसून में थेक्कडी एक दुर्लभ अनुभव है।
जरूर करें:
- पेरियार में जंगल सफारी या नाव की सवारी
- बारिश के बाद मसालों के बागान
- जंगल के नज़ारों के साथ आयुर्वेदिक उपचार
वर्कला – चट्टानों के किनारे बारिश और समुद्र का नीलापन
बहुत से लोग मानसून के दौरान वर्कला के बारे में नहीं सोचते, लेकिन यही वजह है कि यह एकदम सही है। समुद्र उग्र है, चट्टानें बारिश से भीगी हुई हैं और समुद्र तट खाली हैं। यह ऐसी जगह है जहाँ आप अपने विचारों के साथ चल सकते हैं और लहरों को जवाब देते हुए सुन सकते हैं।
अवश्य अनुभव करें:
- चट्टानों के कैफ़े से मानसून के तूफ़ानों को आते हुए देखें
- शांत योग रिट्रीट का आनंद लें
- 2,000 साल पुराने जनार्दनस्वामी मंदिर के दर्शन करें
कुमारकोम – बारिश के बादलों में लिपटी शांति
अगर धीमी गति से यात्रा करना आपकी शैली है, तो कुमारकोम एक लोरी की तरह लगता है। वेम्बनाड झील के किनारे बसा यह गांव मानसून में जीवंत हो उठता है। हर पत्ता चमकता है, और यहां तक कि समय भी धीमा लगता है। यह प्रेमियों, कवियों और साधकों के लिए एक जगह है।
अवश्य अनुभव करें:
- कुमारकोम पक्षी अभयारण्य में पक्षी देखना
- बरसात में सूर्यास्त की सैर
- स्थानीय होमस्टे अनुभव
मानसून के दौरान केरल की यात्रा के लिए सुझाव
- हल्के रेन गियर साथ रखें – छाते और पोंचो ज़रूरी हैं
- शानदार नज़ारों वाली जगह चुनें – बारिश उन्हें पेंटिंग जैसा बना देती है
- कीट विकर्षक पैक करें – मच्छरों को गीला मौसम पसंद होता है
- हल्के कपड़े लेकर यात्रा करें – वाटरप्रूफ बैकपैक और हवादार कपड़े मददगार होते हैं
- स्थानीय भोजन खाएं – मसालेदार केरल व्यंजनों के लिए मानसून सबसे अच्छा समय है
ज़्यादातर पर्यटक सर्दियों में केरल आते हैं, लेकिन जो लोग बेहतर जानते हैं वे बारिश का इंतज़ार करते हैं। मानसून में ही केरल अपनी शांत शक्ति, अपनी हरी-भरी सुंदरता और अपनी काव्यात्मक आत्मा को प्रकट करता है। अगर आपको हरे-भरे नज़ारे, दूर-दूर तक गरजने वाली हल्की आवाज़ें और ऐसी जगहें पसंद हैं जो आत्मा से भरी हुई लगती हैं – तो आप मानसून के दौरान सिर्फ़ केरल नहीं जाएँगे, बल्कि आप इसे महसूस भी करेंगे।
केरल के बारे में :
क्या मानसून के दौरान केरल जाना सुरक्षित है?
हाँ, मानसून के दौरान केरल जाना सुरक्षित है। बस मौसम की स्थिति पर अपडेट रहें, खासकर पहाड़ी इलाकों में जहाँ भूस्खलन की संभावना है। भारी बारिश के दिनों में ट्रेकिंग न करें और स्थानीय सलाह का पालन करें।
मानसून में केरल घूमने के लिए सबसे अच्छे महीने कौन से हैं?
केरल में मानसून जून से शुरू होकर सितंबर में खत्म होता है। जुलाई और अगस्त सबसे ज़्यादा बारिश वाले महीने होते हैं और परिदृश्य सबसे हरा-भरा होता है।
केरल में मानसून के लिए सबसे अच्छी जगहें कौन सी हैं?
सबसे अच्छी जगहें मुन्नार, वायनाड, एलेप्पी, थेक्कडी, वर्कला और कुमारकोम हैं। हर जगह मानसून का अनूठा अनुभव होता है – हिल स्टेशन से लेकर शांत बैकवाटर तक।
क्या मैं मानसून के दौरान एलेप्पी में हाउसबोट की सवारी कर सकता हूँ?
हाँ! एलेप्पी में हाउसबोट की सवारी पूरे साल चलती है। मानसून की सवारी धुंध भरे बैकवाटर और कम पर्यटकों के साथ अधिक सुंदर होती है। बस सुनिश्चित करें कि नाव बारिश के लिए तैयार है।
क्या केरल में मानसून के दौरान बाढ़ आने की संभावना है?
भारी बारिश के दौरान कुछ निचले इलाकों में बाढ़ आ सकती है। अपनी यात्रा की योजना बनाने से पहले मौसम का पूर्वानुमान और यात्रा सलाह देखें। लचीले आवास और परिवहन की बुकिंग भी अनुशंसित है।
बरसात के मौसम में केरल की यात्रा के लिए क्या पैक करें?
हल्के कपड़े, मजबूत छाता, वाटरप्रूफ जूते, कीट विकर्षक, रेनकोट और इलेक्ट्रॉनिक्स और महत्वपूर्ण दस्तावेजों की सुरक्षा के लिए वाटरप्रूफ बैग पैक करें।
क्या केरल में आयुर्वेद उपचार के लिए मानसून एक अच्छा समय है?
हाँ! आयुर्वेद के अनुसार, मानसून डिटॉक्स और कायाकल्प उपचार के लिए सबसे अच्छा समय है क्योंकि नमी के कारण शरीर के छिद्र खुल जाते हैं जिससे उपचार अधिक प्रभावी हो जाते हैं।
क्या मानसून के दौरान केरल के समुद्र तट घूमने के लिए सुरक्षित हैं?
हालाँकि वर्कला के समुद्र तट मानसून के दौरान अभी भी खूबसूरत हैं, लेकिन समुद्र में लहरें उठ सकती हैं। तैराकी की सलाह नहीं दी जाती है। लेकिन जब भारी बारिश नहीं होती है तो चट्टानों के किनारे के दृश्य और समुद्र तट पर सैर करना अभी भी आनंददायक है।